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दूल्हा दुल्हन ने शादी के दिन ही कर दिया ये बड़ा काम : होने लगी चारो तरफ चर्चा

दूल्हा दुल्हन ने शादी के दिन देहदान कर कायम की मिसाल

इटावा।आज कल जहां एक तरफ लोग अपनी शादी को रोचक बनाने के लिए तरह तरह के हथकंडे अपनाते है वहीं उत्तर प्रदेश के इटावा के एक नवदंपति ने अपनी शादी के दिन देहदान कर समाज के लिए अनूठी मिसाल पेश की है। एमबीए दुल्हा और बीएससी दुल्हन की इस पेशकश की हर ओर चर्चा ही चर्चा बनी हुई है, हर कोई नवदंपति के इस निर्णय की सराहना करता हुआ दिखाई दे रहा है।

इटावा जिले के भरथना तहसील के खानपुर गांव के वासी रामपाल सिंह के एमबीए बेटे अतुल यादव की शादी निवाड़ीकँला की लवी से तय हुई। 19 अप्रैल को हुई इस शादी में जयमाला के स्टेज पर दंपति ने अपनी देह सैफई मेडिकल यूनिवर्सिटी को दान कर दी। 

उनके इस अनोखे कार्य की हर ओर चर्चा हो रही है। अतुल के इस काम में उनकी पत्नी ने बखूबी साथ दिया और उन्होंने भी अपनी देह दान कर दी। 

देहदान करने वाले अतुल कहते है कि उनकी अध्यात्म में बड़ी रुचि है और वो गीता पुराण इत्यादि ग्रन्थ पढ़ते रहते है। इसी से उन्हें प्रेरणा मिली। उन्हें धार्मिक ग्रंथों के पढ़ने से ज्ञान हुआ कि शरीर नश्वर है और आत्मा अमर है और मरने के बाद शरीर जल जाना है तो क्यों न इसे समाज के काम में लगाया जाए, जिससे उनके मरने के बाद जरूरतमंद लोगों को नया जीवन मिल सके। 

अतुल ने पहले बीसीए किया और उसके बाद एमबीए किया और वर्तमान में सैफई मेडिकल यूनिवर्सिटी में कंप्यूटर सर्वर डिपार्टमेंट में टेक्नीशियन का काम संभालते है। 

अतुल बताते है कि उन्होंने मेडिकल यूनिवर्सिटी में कई ऐसे मरीजों को देखा जिनके शरीर के किसी ने किसी अंग ने काम करना बंद कर दिया और समय पर डोनर न मिलने की वजह से उसकी मौत हो गई। उनके शरीर के अंगों से कई मरीजों को जीवन दान मिल सकता है। अतुल सामाजिक कार्यों में भी सक्रिय है। 

अतुल कहते है कि जिंदा रहते तो सामाजिक कार्यों में भागीदारी करते है और उनके देह दान के निर्णय से मरने के बाद भी उनका शरीर समाज के काम आयेगा। अतुल के पिता रामपाल यादव ने भी अतुल के देह दान का निर्णय सहर्ष स्वीकार कर लिया। 

अतुल के पिता कहते है कि उन्हें अपने पुत्र और पुत्रवधु पर गर्व है जो उन्होंने इतना बड़ा निर्णय लिया। अतुल ने बताया कि उन्होंने अपनी पत्नी से शादी से कुछ दिन पूर्व देहदान करने की इच्छा जाहिर की तो उन्होंने कहा कि आपके हर निर्णय में मै आपके साथ हूँ और मैं भी अपनी देह दान करूंगी। इसके लिए अतुल ने अपने सास ससुर और ससुरालियों से बात कर उन्हें भी राजी कर लिया। अतुल के इस निर्णय को सैफई मेडिकल यूनिवर्सिटी के कुलपति और विभागाध्यक्ष ने भी सराहा। अतुल की शादी के दिन ही सैफई मेडिकल यूनिवर्सिटी के विभागाध्यक्ष ने जयमाला के स्टेज पर उन्हें देहदान का प्रमाणपत्र सौंपा।

अतुल की जीवनसंगिनी महेवा ब्लॉक के नौगवा, निवाड़ी कलां की रहने वाली बीएससी अंतिम वर्ष की छात्र लवी यादव है।

अतुल ओर लवी ने समाज हित मे देहदान करने की घोषणा कर एक अदभुत मिसाल कायम की है जिसकी समस्त क्षेत्र में चर्चा और सराहना हो रही है।

सैफई से एनाटॉमी विभागाध्यक्ष डॉ.नित्यानंद श्रीवास्तव ने अपने सीनियर टेक्निकल स्टॉफ मिस्टर संजय सिन्हा के साथ विवाह स्थल पर आकर वर वधू को आशीर्वाद के साथ देह दान का संकल्प प्रमाणपत्र भी प्रदान किए।




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