रिपोर्ट - हरेंद्र शुक्ला
महिलाओं का स्वास्थ्य समाज की संवृद्धि की कुंजी- एमएलसी धर्मेन्द्र सिंह
- पोषण अभियान को जन आंदोलन बनाएं
- आईसीडीएस के स्टाल से दी गई पोषण की जानकारी
- गोंद भराई एवं अन्नप्राशन का हुआ कार्यक्रम
- विविध प्रतियोगिता के 25 छात्राएं पुरस्कृत
- केंद्रीय संचार ब्यूरो की ओर से जीजीआईसी में हुआ जन जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन
वाराणसी में आज पोषण माह पर आयोजित जन जागरूकता कार्यक्रम के मुख्य अतिथि विधान परिषद उ प्र के सदस्य धर्मेन्द्र सिंह ने कहा कि स्वस्थ, सुपोषित और सुरक्षित मातृत्व, एक सफल और सुदृढ़ समाज की पहली सीढ़ी है।
आंगनबाड़ी दीदी न केवल पोषण का ध्यान रखती हैं, बल्कि प्रारंभिक बाल्यावस्था देखभाल एवं शिक्षा के अंतर्गत बच्चों के जीवन की पहली शिक्षिकाएं भी बनती हैं।
अपने समर्पण से आंगनबाड़ी दीदियां देश के बच्चों के भविष्य को सवारने अहम भूमिका निभा रहीं हैं।
महिलाओं का स्वास्थ्य ही समाज की संवृद्धि की कुंजी है। जब महिलाएं स्वस्थ रहेंगी, तब वह अपनी सभी भूमिकाओं में सशक्त होकर परिवार और राष्ट्र को सशक्त बनायेगीं।
उन्होंने बनारस की कला और संस्कृति पर चर्चा करते हुए कहा कि लोक कला संचार का एक सशक्त माध्यम है। आज का जन जनजागरूकता कार्यक्रम छात्राओं के लिए बहु उपयोगी हैl
सीडीपीओ आर एन सिंह ने कहा कि मिशन पोषण 2.0 का उद्देश्य है कि हर महिला को सही पोषण की जानकारी मिले ताकि वह घर, परिवार और समाज में अपने योगदान को और प्रभावशाली बना सके। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री का कुपोषण मुक्त भारत का सपना जन जन के सहयोग से ही साकार होगा l पोषण अभियान को जन आंदोलन बनाने के लिए सभी आगे आएं जिससे विकसित भारत का लक्ष्य पूरा हो सके l प्रिंसिपल डॉ निशा यादव ने
एक पेड़ माँ के नाम अभियान पर चर्चा करते हुए कहा कि बच्चों को प्रकृति से जोड़कर और पर्यावरण सुरक्षा के प्रति जागरूक बनाकर ही हम आने वाली पीढ़ियों के लिए स्वच्छ, सुरक्षित और प्रदूषण मुक्त समाज की कल्पना कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि महिलाओं का सशक्तिकरण और उनका आर्थिक विकास, सशक्त, समृद्ध और विकसित भारत के निर्माण में अहम भूमिका निभाएगा।
डॉ. रचना श्रीवास्तव ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने वर्ष 2018 में पोषण अभियान को एक जन आंदोलन बनाने के लिए सितंबर माह को (1 से 30 सितंबर) पोषण माह के रूप में मनाने के लिए देश व्यापी पोषण माह अभियान शुरू किया देश इस वर्ष सातवां पोषण माह मना रहा है। इस वर्ष के पोषण माह का विषय है। एनीमिया, विकास की निगरानी, पूरक आहार, पोषण भी पढ़ाई भी, एक पेड़ माँ के नाम और बेहतर प्रशासन के लिए तकनीकी का उपयोग l
चिकित्सा अधिकारी डॉ मंजूषा ने कहा कि स्वस्थ रहने के लिए संतुलित आहार की आवश्यकता होती है, स्वस्थ शरीर में ही स्वस्थ मष्टिस्क होता है। एक स्वस्थ माँ स्वस्थ बच्चे को जन्म देती है l स्वस्थ रहने के लिए संतुलित आहार होना चाहिए। जब शरीर में प्रोटीन, कार्बोहाईड्रेट, वसा, विटामिन और खनिज का संतुलन विगड़ जाता है तो व्यक्ति कुपोषण का शिकार हो जाता है जिससे विभिन्न प्रकार की बीमारी का सामना महिलाओं, बच्चों, किशोर किशोरियों एवं व्यस्क को करना पड़ता है l
कार्यक्रम में छात्राओं के मध्य प्रश्नोत्तरी, रंगोली, पोस्टर पेंटिंग, और मेंहदी लगाने की प्रतियोगिता हुई जिसके 25 विजेता को पुरस्कार एवं प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया गया l
आईसीडीएस के स्टाल से पोषण युक्त खाद्य वस्तुओं का प्रदर्शन किया गया। तीन बच्चों को मुख्य अथिति ने अन्नप्रशान एवं तीन गर्भवती महिलाओं की गोंद भराई की गयी एक बच्चे का जन्मदिन दिन मनाया गया l
एक पेड़ माँ के नाम के तहत दो पेड़ भी लगाया गया लोक गीत कलाकार रागनी ने गीत प्रस्तुत किया। कार्यक्रम में आकाशबाड़ी के उपनिदेशक डॉ राजेश गौतम, अन्तर्राष्ट्रीय धावक नीलू मिश्रा सहित अनेक लोग उपस्थिति रहे। कार्यक्रम का संचालन क्षेत्रीय प्रचार अधिकारी डॉ. लालजी ने किया l